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दरवाजे में झुका सा खड़ा आदमी... लिबास बहुत ही ज्यादा तंग... दोनों हाथ कोट की जेब में ठुंसे... सांसें उखड़ी हुईं पीला चेहरा पीड़ा से विकृत... दहशत से फटी पड़ रही आंखें...। अजय उसकी और लपका...। आगंतुक…